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Karwa Chauth Muhurt ( करवा चौथ पूजा मुहूर्त )

करवा चौथ पूजा मुहूर्त

                                                       

दिनाँक 

24/11/2021

पूजा समय मुहूर्त ः शाम 05ः38 से 06ः56 तक

चन्द्रमा का उदय ः शाम 08ः11 बजे 

चतुर्थी तिथि आरंभ ः 24 अक्टूबर 2021 सुबह 03ः02 बजे तक 

चतुर्थी तिथि समाप्त ः 25 अक्टूबर 2021 सुबह 05ः42 बजे तक 

करवा चौथ मुहुर्त ः करवा चौथ का त्योहार कल दिनांक 24 अक्टूबर को पूरे देश मे धूमधाम से मनाया जाएगा । यह त्योहार सुहागिन स्त्रिय़ों के लिए बहुत ही खुशी का पर्व होता है । इस दिन सुहागिन स्त्रियाँ अपने पति के लिए व्रत रखती है । और शाम को चन्द्रमा के दर्शन करने और उनकी पूजा करने के बाद अपना व्रत तोड़ती है ।

सुहागिन महिलाओ को इस दिन का इन्तजार हर एक साल के बाद आता है । जिसमे पत्नियाँ अपने पति के लिए लम्बी उम्र की कामना करती है । और अपने परिवार की खुशियों के लिए भी मंगल कामना करती है । 





Karwa Chauth Vrat Katha in Hindi (करवा चौथ की कथा)

 


करवा चौथ व्रत कथा


कार्तिक कृष्ण पक्ष की चतुर्थी को करवा चौथ कहते है| इसमें गणेश जी का पूजन करके उन्हें पूजन दान से प्रसन्न किया जाता है, इसका विधान चैत्र की चतुर्थी में लिख दिया है| परन्तु विशेषता यह है की इसमें गेहूँ का करवा भर के पूजन किया जाता है और विवाहित लड़कियों के यहाँ चीनी के करवे पीहर से भेजे जाते है| तथा इसमें निम्नलिखित कहानी सुनकर चन्द्रोद्र्थ में अर्ध्य देकर व्रत खोला जाता है|

कथा- एक साहूकार के सात लड़के और एक लड़की थी| सेठानी के सहित उसकी बहुओं और बेटी ने करवा चौथ का व्रत रखा था| रात्रि को साहकार के लड़के भोजन करने लगे तो उन्होंने अपनी बहिन से भोजन के लिए कहा| इस पर बहिन ने जवाब दिया- भाई! अभी चाँद नहीं निकला है, उसके निकलने पर अर्ग देकर भोजन करुँगी| बहिन की बात सुनकर भाइयों ने क्या काम किया कि नगर से बाहर जा कर अग्नि जला दी और छलनी ले जाकर उसमें से प्रकाश दिखाते हुए उन्होनें बहिन से कहा-बहिन! चाँद निकल आया है अर्ग देकर भोजन कर लो| यह सुनकर उसने अपने भाभियों से कहा कि आओ तुम भी चन्द्रमा को अर्ग दे लो, परन्तु वे इस काण्ड को जानती थी, उन्होंने कहा बाई जी! अभी चाँद नहीं निकला है, तेरे भाई तेरे से धोका करते हुए अग्नि का प्रकाश छलनी से दिखा रहे है| भाभियों की बात सुनकर भी उसने कुछ ध्यान ना दिया एवं भाइयों द्वारा दिखाए गए प्रकाश को ही अर्ग देकर भोजन कर लिया| इस प्रकाश व्रत भंग करने से गणेश जी उस पर अप्रस्सन हो गए| इसके बाद उसका पति सख्त बीमार हो गया और जो कुछ घर में था उसकी बीमारी में लग गया| जब उसने अपने किये हुए दोषों का पता लगा तो उसने पश्चाताप किया गणेश जी की प्राथना करते हुए विधि विधान से पुनः चतुर्थी का व्रत करना आरम्भ कर दिया| श्रधानुसार सबका आदर करते हुए सबसे आशीर्वाद ग्रहण करने में ही मन को लगा दिया| इस प्रकाश उसके श्रद्धा भक्ति सहित कर्म को देखकर भगवान गणेश उस पर प्रसन्न हो गये और उसके पति को जीवन दान दे कर उसे आरोग्य करने के पश्चात धन-सम्पति से युक्त कर दिया| इस प्रकाश जो कोई छल-कपट को त्याग कर श्रधा-भक्ति से चतुर्थी का व्रत करेंगे वे सब प्रकार से सुखो को भोगते हुए स्वर्ग लोक को प्राप्त करते है ।


Karwa Chauth ki pooja vidhi aur Vrat ( करवा चौथ व्रत और पूजा विधि कैसे करे )

Karwa Chauth Muhurt ( करवा चौथ पूजा मुहूर्त )

करवा चौथ पूजा मुहूर्त                                                         दिनाँक  24/11/2021 पूजा समय मुहूर्त ः शाम 05ः38 से 06ः56 तक चन...